लखनऊ- उत्तर प्रदेश सरकार ने ईंट-भट्ठा एवं कुम्हारी कला आदि के लिए मशीन से मिट्टी खुदाई के लिए अनुमति दे दिया है। बिहार व हरियाणा की तर्ज़ पर अब दो मीटर तक की मिट्टी की खुदाई मशीन से की जा सकेगी अब तक यह ब्यवस्था सिर्फ हस्तचालित प्रक्रिया के माध्यम से खुदाई की अनुमति थी।10 अक्टूबर को हुई कैबिनेट बैठक में भूतत्व एवं खनिकर्म विभाग से जुड़े प्रस्ताव पर सहमति दे दी है। उत्तर प्रदेश उपखनिज नियमावली -2023 में संसोधन की स्वीकृति दे दी है। नियमावली में संशोधन के तहत लचीला रुख अपनाते हुए पट्टाधारकों के भुगतान से जुड़ी प्रक्रिया को भी सहज बनाया गया है। पट्टाधारकों द्वारा देय राशि के भुगतान के लिए अब चतुर्थ व पंचम सूची में बार-बार संशोधन की आवश्यकता नहीं है। इसकी जगह पर समय-समय पर जारी शासनादेश से ही देय धनराशि का भुगतान किया जा सकेगा।अब पट्टाधारकों की मृत्यु की स्थिति में उसके उत्तराधिकारी के पक्ष में पट्टा माना जाएगा। सरकार के इस निर्णय से ईंट भट्ठा एवं मिट्टी के वर्तन बनाने के ब्यवसाईयों को काफी सुगमता होगी ।इस नियमावली के संशोधन से ईंट भट्ठा संचालकों ने सरकार की प्रसंशा करते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को धन्यवाद ज्ञापित करते हुए ईंट भट्ठा समिति मऊ के अध्यक्ष वीरभद्र सिंह ने कहा कि सरकार के इस फैसले से जहां एक ओर सरकार पर कोई भार नहीं बढ़ेगा वहीं दूसरी ओर इससे ईंट के दाम न बढने से जनता को भी राहत महसूस होगी। महामंत्री कौशल कुमार राय उर्फ बंबू राय ने सरकार के इस फैसले का स्वागत करते हुए ईंट भट्ठा समिति मऊ की तरफ से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को धन्यवाद ज्ञापित करते हुए कहा कि सरकार के इस फैसले से न सिर्फ भट्ठा संचालकों को सहुलियत होगी बल्कि संचालकों का अनावश्यक उत्पीड़न नहीं होगा । साथ ही भट्ठा मालिक पवन राय, मुन्ना सिंह, सुर्यकान्त, अखिलेश मल्ल, अन्जनी सिंह, देवेन्द्र सिंह आशीष सिंह, ,राजू राय,आदि ईंट भट्ठा संचालकों ने खुशी जाहिर करते हुए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को धन्यवाद ज्ञापित किया है।
ईंट-भट्ठा वाले जेसीबी से कर सकते हैं खुदाई,यूपी कैबिनेट में प्रस्ताव पास
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